होशियारपुर, (तरसेम दीवाना)- आरटीआई एक्टिविस्ट फ्रंट ऑफ इंडिया” (रफ़ी) की एक आपातकालीन बैठक अध्यक्ष प्रिंसिपल बलवीर सिंह सैनी के नेतृत्व में होशियारपुर में हुई। इसमें चेयरमैन तरसेम दीवाना ने भाग लिया। बैठक को संबोधित करते हुए पंजाब अध्यक्ष श्री बलवीर सिंह सैनी ने कहा कि पंजाब आर.टी.आई. सूचना के अधिकार को सार्वभौमिक बनाने के लिए लागू किया गया अधिनियम 2005 अप्रभावी साबित हो रहा है. उन्होंने कहा कि आरटीआई कानून बनाने का उद्देश्य सरकारी तंत्र को स्मार्ट बनाना नहीं बल्कि आम लोगों को सरकारी अधिकारियों के बारे में जानकारी उपलब्ध कराना है. इसे बिना किसी परेशानी या रुकावट के प्रदान किया जाना चाहिए था, लेकिन देखा गया है कि यह सुविधा लोगों को ठीक से नहीं मिल पा रही है, इसका कारण यह है कि मामलों की सुनवाई और उचित कार्रवाई करने के लिए सरकारी तंत्र की भारी कमी है। आरटीआई एक्ट। इस संबंध में अध्यक्ष श्री बलवीर सिंह सैनी ने कहा कि पंजाब सूचना कार्यालय चंडीगढ़ में मुख्य आयुक्त सहित लगभग 13 पद हैं, जिनमें से सूचना आयुक्त वर्तमान में केवल 2 पदों पर कार्यरत हैं, बाकी मुख्य आयुक्त एवं सूचना आयुक्तों के 10 पद रिक्त हैं जिसके कारण सूचना के अधिकार का कार्य काफी प्रभावित हो रहा है तथा समय पर सुनवाई नहीं होने से अपीलकर्ताओं को भारी असुविधा का सामना करना पड़ रहा है। बैठक को संबोधित करते हुए अध्यक्ष तरसेम दीवाना ने कहा कि समय पर सूचना नहीं मिलने के कारण सूचना का यह अधिकार अपीलकर्ताओं के लिए निरर्थक साबित हो रहा है और जिस उद्देश्य से सूचना मांगी गयी है वह उद्देश्य विलंब के कारण समाप्त हो जाता है. बैठक में मुख्यमंत्री भगवंत मान से सूचना आयुक्तों के रिक्त पदों को भरने की अपील की गई।इस अवसर पर गुरबिंदर सिंह पलाहा महासचिव, अश्वनी शर्मा वरिष्ठ उपाध्यक्ष, ओपी राणा उपाध्यक्ष, सुशांत मम्मन वित्त सचिव, हेडमास्टर इंदर सिंह राम कॉलोनी कैंप सचिव, दविंदर कुमार शिहमर संयुक्त सचिव, इंद्रजीत सिंह मुकेरियां सहायक वित्त सचिव, सुखविंदर सिंह मुकेरिया, प्रिंसिपल हरदीप सिंह कार्यकारी सदस्य, एडवोकेट हर्ष ठाकुर, एडवोकेट हरदीप सिंह भटोआ और एडवोकेट मलकियत सिंह सीकरी मुख्य कानूनी सलाहकार भी उपस्थित थे।